रायपुर। माना के बाल सुधार संप्रेषण गृह से 4 नाबालिग फरार हो गए हैं। इस मामले में संप्रेषण गृह प्रबंधन की लापरवाही इस कदर है कि अभी तक पुलिस थाने में लिखित शिकायत तक नहीं दी गई है। जिससे भागने का तरीका पता चल सके। हालांकि माना पुलिस को इसकी मौखिक सूचना मिलते ही नाबालिगों की तलाश शुरू हो गई है। संप्रेषण गृह से गंभीर मामलों के आरोपी नाबालिगों के भागने से लगातार सुरक्षा को लेकर सवाल उठ रहे हैं। बताया जा रहा है कि यह घटना मंगलवार रात करीब साढ़े 8 बजे की है। 4 नाबालिग रात में भोजन के बाद मौका पाकर संप्रेषण गृह से भाग गए। इस दौरान वहां पर कर्मचारी भी मौजूद थे। उसके बावजूद सुरक्षा में लापरवाही हुई। जिस वजह से नाबालिग भागने में सफल हो गए।
जब उनकी गिनती की गई तो संख्या कम मिली। जिसके बाद प्रबंधन को जानकारी मिली। चार नाबालिगों में तीन स्थानीय रायपुर के रहने वाले हैं जबकि एक ओडिशा का है। ये आरोपी गंभीर मामलों में बंद थे। गया है। इस मामले में माना पुलिस का कहना है कि बाल संप्रेषण गृह की तरफ से पुलिस थाने में अभी तक कोई भी लिखित शिकायत लेटर नहीं दिया गया है। केवल व्हाट्सएप के माध्यम से वहां के किसी कर्मचारी से सूचना मिली। हालांकि पेट्रोलिंग टीम नाबालिग की खोज में जुट गई है। नाबालिग कैसे बाहर निकले यह अभी साफ नहीं है। इस मामले में जब माना संप्रेषण गृह अधीक्षक से बात करने की कोशिश की गई। लेकिन उनके तरफ से कोई जवाब नहीं आया। इस बाल संप्रेषण गृह से करीब 8 महीने पहले एक साथ 10 नाबालिग फरार हो गए थे। नाबालिगों ने पहले कमरे के खिडक़ी की ग्रिल तोड़ी फिर दीवार फांदकर फरार हो गए। इनमें से कई आरोपी हत्या और दुष्कर्म जैसे गंभीर मामलों में बंद थे। इस घटना के बावजूद प्रबंधन की तरफ से सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम नहीं किए गए। जिससे फिर एक बार नाबालिग के भागने का केस हुआ है।
माना बाल संप्रेषण गृह से भागे 4 नाबालिग
सुरक्षा में लापरवाही से बार-बार हो रही घटनाएं
